नामी कॉलेजों में एडमिशन दिलाने के नाम पर करोड़ों की ठगी, 500 बच्चों को Social Media पर ढूंढकर बनाया निशाना

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 नामी कॉलेजों में एडमिशन दिलाने के नाम पर करोड़ों की ठगी, 500 बच्चों को Social Media पर ढूंढकर बनाया निशाना
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UP, Noida: नोएडा से धोखाधड़ी का मामला सामने आया है जहां पर बड़े-बड़े मेडिकल कॉलेज (Medical college) में एडमिशन दिलाने के नाम पर छात्रों से करोड़ों रुपयों की ठगी की गई. इस गैंग ने 1-2 नहीं बल्कि सैकड़ों बच्चों की जिंदगी के साथ खिलवाड़ किया है. इस वारदात को अंजाम देने वाले गैंग को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है. पुलिस ने बताया कि पकड़े गए लोगों ने नोएडा और पुणे में अपने ऑफिस बनाए हुए थे. पुलिस ने दो महिलाओं समेत 6 लोगों को गिरफ्तार किया है. इन सभी के पास से 5 करोड़ से भी ज्यादा के चेक बरामद किए गए हैं, साथ ही लेपटॉप और 16 मोबाइल भी बरामद हुए हैं. 

भोले-भाले छात्रों को बनाया निशाना

डीसीपी नोएडा मनीष कुमार मिश्रा ने बताया कि इस गैंग के पास से कई चीजें बरामद की गई हैं. 5 करोड़ से भी ज्यादा के चेक (cheque) जब्त किए गए हैं. गिरफ्तार किए गए लोगों की पहचान बिहार के राहुल कुमार, अनुपम कुमार, नागपुर के दयानंद पांडे, आगरा के सचिन सिंह, गोरखपुर की विदुषी लोहिया और झारखंड की निकिता उपाध्याय के रूप में हुई है. इस गैंग में 7वें सदस्य की पहचान सोनू के तौर पर हुई है। पर वो अभी पुलिस की गिरफ्त से बाहर है. पुलिस ने बताया कि इस गैंग ने सोशल मीडिया के जरिये इन छात्रों पर निशाना साधा. 

नामी कॉलेज के नाम पर ठगी

पुलिस ने बताया कि सूचना मिलने पर सेक्टर-62 स्थित एक बिल्डिंग में छापेमारी की गई. जहां पर कुछ लोग ऑफिस चला रहे थे. इसी जगह से छात्र-छात्राओं को देश-विदेश के कई मेडिकल और दूसरे कॉलेजों में एडमिशन दिलाने के नाम पर लाखों-करोड़ों की ठगी चल रही थी. पुलिस ने आरोपियों के फोन और लेपटॉप जांच के लिए भेज दिए हैं. रिपोर्ट के मुताबिक ये सभी लोग नोएडा के अलग-अलग इलाकों में किराए के कमरों में रह रहे थे. 

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मेडिकल स्टूडेंट्स को बनाया निशाना

आरोपियों की निशानदेही पर 5 करोड़ 6 लाख 50 हजार रुपये के चेक बरामद किए गए हैं. साथ ही ठगी में इस्तेमाल की गई कार, 3 लाख 90 हजार कैश, दो लेपटॉप और 16 मोबाइल बरामद किए गए हैं. आरोपियों से पूछताछ की गई तो पता चला कि सोशल मीडिया के जरिए ये बच्चों के संपर्क में आते थे और उन्हें देश और दुनिया के नामी कॉलेज में दाखिला कराने का लालच देते थे. दाखिला दिलाने के नाम पर एक छात्र से 6 से 10 लाख रुपये लिए जाते थे. जाहिर सी बात है इनके निशाने पर वहीं लोग होते थे जो अपने बच्चों को हर हाल में मेडिकल में या फिर इंजीनियरिंग में एडमिशन दिलाना चाहते थे और उन्ही बच्चों से संपर्क किया जाता था जो मेडिकल और इंजीनियरिंग कॉलेज में दाखिले के लिए एग्जाम दे चुके हैं.  

पढ़े-लिखे हैं आरोपी

एसीपी शैव्या गोयल ने बताया कि गैंग के सभी सदस्य पढ़े लिखे हैं. राहुल और अनुपम जो गैंग के सरगना है वो भी पटना यूनिवर्सिटी से बीएससी और दूसरा पटना के कॉलेज से बीबीए कर चुका है. बाकी के सदस्य भी बीबीए और बीकॉम कर चुके हैं. इन सभी सदस्यों को हर महीने 40-50 हजार सैलरी भी दी जाती है. आरोपी अनुपम के मुताबिक अब तक ये लोग 500 से ज्यादा लोगों के साथ ठगी कर चुके हैं. फिलहाल पूरे मामले में आगे की कानूनी कार्रवाई की जा रही है और मामला भी दर्ज किया जा चुका है. 

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