बिल्डरों से सांठगांठ, बनाई फ्राड कंपनी, बैंक से करोड़ों का लोन लेने वाले गैंग का पर्दाफाश

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UP STF Busted Gang: इस गैंग में एक महिला भी शामिल है। एसटीएफ ने गाजियाबाद पुलिस के साथ खास ऑपरेशन चलाया और 6 आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया।

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UP STF Busted Gang: यूपी की स्पेशल टास्क फोर्स ने फर्जी कंपनी व प्रोफाइल बनाकर बैंकों से करोड़ों का लोन लेने वाले जालसाजों को गिरफ्तार किया है। इस गैंग में एक महिला भी शामिल है। एसटीएफ ने गाजियाबाद पुलिस के साथ खास ऑपरेशन चलाया और 6 आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया।अपर पुलिस अधीक्षक आर के मिश्रा ने बताया कि गिरफ्तार आरोपियों में एक महिला भी शामिल है। पुलिस ने  गाजियाबाद के हरी किशन, विष्णु, प्रीति जौबे, रिषभ चौबे, सूर्या और संजीव कुमार को गिरफ्तार किया है। पुलिस ने आरोपियों के कब्जे से 58 चेकबुक, 31 क्रेडिट कार्ड, 6 फेक आधार कार्ड के अलावा चार कारें बरामद की हैं। गिरफ्तार अभियुक्त ऋषभ चौबे ने पूछताछ पर बताया कि उसकी उम्र लगभग 24 साल है और वह कक्षा 12 पास है। 

58 चेकबुक, 31 क्रेडिट कार्ड, 6 फेक आधार कार्ड के अलावा चार कारें बरामद 

ऋषभ चौबे एवं संजीव तथा हरी ने आदर्श पब्लिक स्कूल गाजियाबाद में एक साथ पढ़ाई की है और तभी से एक दूसरे को जानते हैं। अपर पुलिस अधीक्षक आर के मिश्रा ने बताया कि तीनों ने एक साथ टेक महिन्द्रा के कॉल सेन्टर सेक्टर-64 नोएडा में कस्टमर सर्विस के पद पर वर्ष 2018 में काम किया था और यही पर इनकी मुलाकात सूर्या करदोंग से हुई थी । बताया कि उसकी (ऋषभ चौबे ) माँ का नाम प्रीति चौबे हैं और प्रीती चौबे के भाई का दोस्त अजय है जो संत कबीर नगर के मेदावल का रहने वाला है। अजय का प्रीती चौबे के घर पर आना जाना था।  

 

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6 फेक आधार कार्ड के अलावा चार कारें बरामद 

 

09 करोड़ रूपये का होम लोन 

उल्लेखनीय है कि अजय ने ही इन सभी को फेक प्रोफाईल फंडिंग का काम सिखाया था, जिसमें Pure tech solutions नाम से एक फर्जी दस्तावेदो पर आधारित एक कंपनी रजिस्टर की जाती है और उसमें प्रीति चौबे को डायरेक्टर बनाया जाता है और इसमें 50 से ज्यादा कर्मचारी दिखाये जाते हैं जिनमें प्रारम्भ की 7-8 महीने की सेलरी डालकर महीने के अन्त में निकाल कर वापस कंपनी के एकाउन्ट के माध्यम से सेलरी एकाउन्ट में घुमाया जाता है। जब इनकी बैंक की प्रोफाइल तैयार हो जाती है तो अजय Resizome buildwell private limited से मिलकर उसके गाजियाबाद के प्रोजेक्ट में इस फर्जी कंपनी के कर्मचारियों के द्वारा अपनी फर्जी बैंकिग प्रोफाइल से आई०सी०आई०सी०आई० बैंक से लगभग 09 करोड़ रूपये का होम लोन ले लिया जाता है और ये पैसा बिल्डर के एकाउन्ट में शिफ्ट होता है जिसके बदले में बिल्डर इस गैंग को 10 प्रतिशत तक कमीशन देता है। 

 2 से 3 प्रतिशत कमीशन 

अजय इस होम लोन को कराने में जिसकी प्रोफाइल प्रयोग की जाती थी उसको 2 से 3 प्रतिशत कमीशन देता है। इस गैंग द्वारा विभिन्न एक दर्जन से अधिक पब्लिक सेक्टर एवं प्राइवेट सेक्टर एवं एन0बी0एफ0सी0 कंपनियों से होम लोन उठाने की बात भी प्रकाश में आयी है, जिनकी गहनता से छानबीन की जा रही है।अभियुक्त हरी किशन ने पूछताछ पर बताया कि वह मूलरूप से कुल्लम केरला का रहने वाला है और उसकी उम्र लगभग 23 साल है तथा वह बी0 कॉम पास है। बताया कि वह (हरी किशन) टेक महिन्द्रा कंपनी के अलावा कई प्राइवेट कम्पनियों के कॉल सेन्टर में काम कर चुका है। बताया कि उसके बड़े भाई का नाम विष्णु है, जिसने होटल मैनेजमेंन्ट का कोर्स कर रखा है, जो वर्तमान में एच०डी०एफ०सी० जनरल इंशोरेन्स में एग्ज्यूकेटिव के पद पर काम कर रहा है तथा विष्णु इससे पूर्व वीवों के कॉल सेन्टर सेक्टर-59 नोएडा में भी काम कर चुका है। गिरफ्तार अभियुक्त संजीव ने पूछताछ पर बताया कि उसकी उम्र लगभग 24 साल है और वह बीकॉम पास है। बताया कि वह वर्तमान में एच०सी०एल० के बी०पी०ओ० में कस्टमर रिप्रजन्टेटिव के पद पर काम कर रहा था। 

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