Rapist Baba Asaram: किसी दौर में हरेक घर में पूजे जाने वाले संत आसाराम बापू पिछले 10 सालों से जेल (Jail) की सलाखों के पीछे हैं। मगर अब उनके खुली हवा में आजाद सांस लेने का सपना शायद कभी पूरा न हो सके क्योंकि रेप के मामले में पहले से ही सज़ा काट रहे आसाराम पर रेप का आरोप सिद्ध हो चुका है। अब गुजरात के गांधीनगर की एक अदालत एक महिला शिष्या के साथ बलात्कार करने के इल्ज़ाम में सज़ा सुनाने वाली है।
Court Convicts Asaram: लगता है अब जेल में ही कटेगी आसाराम बापू की बाकी बची ज़िंदगी?
Asaram Jail: संत आसाराम एक बार फिर क़ानून की नज़र में बलात्कार के दोषी साबित हो चुके हैं। गांधीनगर की अदालत मंगलवार यानी 31 जनवरी को आसाराम को सज़ा सुनाएगी।
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31 Jan 2023 (अपडेटेड: Mar 6 2023 4:35 PM)
गांधीनगर की सत्र अदालत के जज डी के सोनी ने संत आसाराम बापू को दुष्कर्म के मामले में दोषी करार देते हुए सोमवार को अपना फैसला सुरक्षित रख लिया था। जबकि इस मामले में सबूतों की कमी की वजह से आसाराम की पत्नी समेत छह और आरोपियों को बरी कर दिया गया था।
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सरकारी वकील आर की कोडेकर की बातों पर यकीन किया जाए तो आसाराम को IPC की धारा 376 सी यानी बलात्कार, धारा 377 यानी आप्राकृतिक यौन अपराध और पीड़ित को अवैध तरीके से अपनी हिरासत में रखने का कसूरवार अदालत ने मान लिया है।
Asaram Convict: उधर आसाराम के वकील ने इस वाकये और उसकी शिकायत दर्ज कराने के बीच लंबे वक़्त की बेलिहाज दलील देनी चाही। आसाराम के वकील का कहना है कि घटना होने की बात 2001 बताई जा रही है जबकि इसकी शिकायत 2013 में दर्ज हुई।
ऐसे में अदालत जो सज़ा सुनाएगी उस पर विचार विमर्श करने के बाद ही हम लोग आगे की अदालत में अपील करेंगे।
असल में ये पूरा वाकया कुछ यूं है कि सूरत की एक महिला ने 2013 में पुलिस में एक शिकायत दर्ज कराई। शिकायत के मुताबिक आसाराम बापू और सात दूसरे लोगों ने उसे अवैध रूप से न सिर्फ बंधक बनाया बल्कि उसके साथ बलात्कार भी किया। ये बात गौरतलब जरूर है कि इस सुनवाई के दौरान एक आरोपी की मौत हो चुकी है।
Gandhinagar Court News: पुलिस ने आसाराम को अगस्त 2013 में गिरफ्तार करने के बाद जुलाई 2014 में चार्जशीट दाखिल कर दी थी। अहमदाबाद के चांदखेड़ा पुलिस थाने में दर्ज हुई शिकाय में लिखा है कि आसाराम ने अहमदाबाद शहर के बाहिरी हिस्से में बने अपने आश्रम में साल 2001 से लेकर 2006 तक के बीच पीड़ित के साथ कई बार न सिर्फ बलात्कार किया बल्कि उसे धमकाया भी।
संत आसाराम को इससे पहले 25 अप्रैल 2018 को जोधपुर की अदालत ने एक नाबालिग लड़की के साथ बलात्कार करने के इल्ज़ाम में दोषी करार दिया था। और उसी सिलसिलें में आसाराम को उम्रकैद की सज़ा सुनाई थी।
उम्रकैद की सज़ा सुनाए जाने से पहले आसाराम पांच साल तक जोधपुर की जेल में रहे। ऐसे में ये दूसरा फैसला सामने आया है और अब तक संत आसाराम बापू जेल में 10 साल काट चुके हैं।
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