ANDHRA CRIME NEWS: तेलुगू देशम पार्टी (तेदेपा) के प्रमुख एन. चंद्रबाबू नायडू मंगलवार को राजामहेंद्रवरम केंद्रीय जेल से बाहर निकले और अपने सभी समर्थकों को धन्यवाद दिया।
आंध्र प्रदेश कौशल विकास मामला: नायडू जेल से रिहा, सभी समर्थकों का आभार जताया
ANDHRA CRIME NEWS: जेल में 53 दिन गुजारने के बाद नायडू शाम 4.20 बजे बाहर निकले। जेल से बाहर निकलने पर नायडू के परिवार, पार्टी नेताओं और समर्थकों ने उनका जोरदार स्वागत किया।
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01 Nov 2023 (अपडेटेड: Nov 1 2023 1:15 AM)
जेल में 53 दिन गुजारने के बाद नायडू शाम 4.20 बजे बाहर निकले। जेल से बाहर निकलने पर नायडू के परिवार, पार्टी नेताओं और समर्थकों ने उनका जोरदार स्वागत किया। नायडू को कौशल विकास निगम घोटाला मामले में उच्च न्यायालय ने उन्हें अस्थायी जमानत दी है।
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इससे पहले दिन में, उच्च न्यायालय ने नायडू को स्वास्थ्य आधार पर चार सप्ताह की अवधि के लिए अंतरिम जमानत दे दी थी। आंध्र प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री की ओर से पेश अधिवक्ताओं ने अदालत को सूचित किया था कि नायडू को मोतियाबिंद सर्जरी कराने के लिए जमानत की आवश्यकता है।
नायडू ने जेल के बाहर पत्रकारों से बात करते हुए कहा, ‘‘मैं सभी तेलुगू लोगों का आभार व्यक्त करता हूं। पिछले 52 दिनों में जब मैं मुश्किलों में था, आप सभी ने आगे आकर मेरा समर्थन किया और मेरे लिए प्रार्थनाएं कीं। आपने जो प्यार मुझे दिया है, मैं उसे कभी नहीं भूलूंगा। न केवल आंध्र प्रदेश में बल्कि दोनों तेलुगु राज्यों में।’’
उन्होंने भारत और दुनिया भर के विभिन्न देशों में उनका समर्थन करने वाले सभी लोगों को धन्यवाद दिया और वादा किया कि वे उनके योगदान को कभी नहीं भूलेंगे। नायडू ने कहा कि ‘‘सभी राजनीतिक दलों’’ ने उनका समर्थन किया है, खासकर पवन कल्याण और जनसेना ने। उन्होंने इस बात पर प्रकाश डाला कि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा), भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (भाकपा), भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) और कांग्रेस पार्टी के कुछ नेताओं ने भी उनका समर्थन किया है और कहा कि वह उन सभी को धन्यवाद देते हैं।
नायडू ने कहा कि तेदेपा नेता एवं समर्थक पिछले 52 दिनों में बड़ी संख्या में बाहर आए और ‘‘मेरे लिए लड़े।’’ नायडू ने कहा कि ‘‘कुछ समर्थकों ने मेरे लिए श्रीकाकुलम से कुप्पम तक साइकिल भी चलाई है।’’
उन्होंने यह भी उल्लेख किया कि हैदराबाद में कई आईटी पेशेवरों और अन्य लोगों ने बड़ी संख्या में समर्थन दिया। नायडू के अनुसार, जो लोग उनके काम से लाभान्वित हुए, वे सामने आए और उदाहरणों का हवाला देते हुए स्वेच्छा से और सहजता से उनका समर्थन किया।
अस्थायी रूप से जमानत पर बाहर होने के कारण राजनीतिक बयानों से बचते हुए, नायडू ने कहा कि अपने 45 साल के राजनीतिक जीवन में उन्होंने 'कभी कोई गलती नहीं की और न ही किसी को गलती करने दी।’’
जेल से बाहर आते ही पूर्व मुख्यमंत्री नायडू ने सबसे पहले अपने पोते नारा देवांश को गले लगाया और पुत्रवधू नारा ब्राह्मणी, हिंदूपुर विधायक और रिश्तेदार एन बालकृष्ण और परिवार के अन्य सदस्यों से मुलाकात की। उन्होंने तेदेपा के प्रदेश अध्यक्ष के अचेन नायडू को भी गले लगाया।
पार्टी के कई समर्थकों ने तेदेपा के झंडे लहराए और जेल के बाहर नायडू का स्वागत किया। राज्य भर में बड़ी संख्या में तेदेपा नेताओं और समर्थकों ने अपने नेता की रिहाई का जश्न मनाया।
उम्मीद है कि नायडू अपनी रिहायी के बाद आंध्र प्रदेश में गुंटूर जिले के उंदावल्ली स्थित अपने आवास पहुंचेंगे।
इससे पहले दिन में, उच्च न्यायालय की पीठ ने पूर्व मुख्यमंत्री नायडू को जमानत देते हुए 28 नवंबर को या उससे पहले राजामहेंद्रवरम में केंद्रीय जेल के अधीक्षक के सामने पेश होने का निर्देश दिया।
अदालत ने आदेश में कहा, ‘‘मानवीय दृष्टिकोण को ध्यान में रखते हुए और याचिकाकर्ता की स्वास्थ्य की स्थिति पर विचार करते हुए, यह अदालत याचिकाकर्ता को स्वास्थ्य आधार पर अंतरिम जमानत देती है, ताकि वह अपनी दाहिनी आंख की आवश्यक सर्जरी करा सकें।’’
अदालत ने कई शर्तें लगाते हुए नायडू को निर्देश दिया कि उन्हें एक लाख रुपये की जमानत राशि और इतनी ही राशि के दो मुचलके निचली अदालत में जमा कराने होंगे।
तेदेपा प्रमुख को आत्मसमर्पण के समय केंद्रीय कारागार के अधीक्षक को एक सीलबंद लिफाफे में उन्हें दिए गए उपचार और जिस अस्पताल में उनका इलाज हुआ, उसका विवरण प्रदान करने का भी आदेश दिया गया था।
अदालत ने कहा, ‘‘याचिकाकर्ता मामले के तथ्यों से परिचित किसी भी व्यक्ति को अदालत या किसी अन्य प्राधिकारी को ऐसे तथ्यों का खुलासा करने से रोकने के लिए प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष रूप से कोई प्रलोभन, धमकी या वादा नहीं करेगा।’’
कौशल विकास निगम से धन के दुरुपयोग के आरोप में नायडू को नौ सितंबर को गिरफ्तार किया गया था। आरोप है कि इस कथित घोटाले की वजह से सरकारी खजाने को 300 करोड़ रुपये से अधिक का नुकसान हुआ। अदालत ने नियमित जमानत याचिका पर सुनवाई की तारीख 10 नवंबर तय की।
(PTI)
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