Mahadev App Online Betting Case: क्या है महादेव ऐप ऑनलाइन बैटिंग केस ? कैसे इसके मकड़जाल में फंस गए बॉलीवुड के सितारे?

Mahadev App Online Betting Case: क्या है महादेव ऐप ऑनलाइन बैटिंग केस ? कैसे इसके मकड़जाल में फंस गए बॉलीवुड के सितारे?

Mahadev App Online Betting Case

Mahadev App Online Betting Case

06 Oct 2023 (अपडेटेड: Oct 6 2023 3:23 PM)

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मुंबई से दिव्येश सिंह , मुनीश पांडे के साथ चिराग गोठी की रिपोर्ट

What is Mahadev App Online Betting Case?

Mahadev App Online Betting Case:  सौरभ चंद्राकर और रवि ने कभी सपनों में भी ये नहीं सोचा था कि एक दिन वो 20 हजार करोड़ के मालिक बन जाएंगे और वो भी सट्टा खेलकर। जी हां, ये सच है। कैसे जूस की दुकान चलाना वाला चंद साल में ही 20 हजार करोड़ रुपये का मालिक हो गया, आइये आपको बताते हैं।

 सौरभ चंद्राकर 

छत्तीसगढ़ के 28 साल के युवक सौरभ ने बनाई बैटिंग ऐप

सौरभ छत्तीसगढ़ का रहने वाला है। वो वहां जूस की दुकान चलाता था। आय सीमित थी, लेकिन उसके सपने बहुत बड़े थे। वो करोड़पति बनना चाहता था। इसके लिए उसने सट्टा खेलना शुरू किया। धीरे-धीरे उसकी किस्मत चमकी और वो बड़े पैमाने पर सट्टा खेलने लगा। रवि उसका खास दोस्त है। दोनों ने सोचा कि क्यों न ऑनलाइन सट्टा खेला जाए और खिलाया जाए? बस दोनों ने ये तय कर लिया।

ऐसे बनाई ऐप?  महादेव ऐप आनलाइन बैटिंग केस

सौरभ को एक आइडिया आया। उसने सट्टे खिलाने, खेलने के लिए आनलाइन ऐप बना डाली, जिसका नाम रखा महादेव ऑनलाइन बैंटिग ऐप। ये ऐप चलने लगी। धीरे-धीरे करके इसमें लाखों लोग जुड़ गए। बाद में कंपनी ने अपना मेन आफिस UAE  में बना लिया। इस एप्लीकेशन के कॉल सेंटर श्रीलंका और नेपाल में भी बनाए गए। करीब 50 लाख लोग इसके मेंबर बन गए। गेमिंग ऐप के बैंक खाते से पिछले एक साल में 5000 करोड़ रुपयों से ज्यादा का लेन-देन किया गया।

कैसे गेम्स के मार्फत ऑनलाइन सट्टा खेला जाता था?

इस गेम की शुरुआत केवल 500 रुपये से होती है। महादेव ऐप (Mahadev App) पर पोकर, कार्ड गेम, चांस गेम, क्रिकेट, बैडमिंटन, टेनिस और फुटबॉल जैसे कई लाइव गेम्स में सट्टा लगाया जा सकता है। कई लोगों ने इसमें पैसे लुटाए।  माना जाता है कि इसका नेटवर्क भारत के अलावा नेपाल, बांग्लादेश समेत अन्य कई देशों में फैला हुआ है।


कितना का है ये महाघोटाला? 

 

बताया जा रहा है कि महादेव ऐप का घोटाला करीब 5000 करोड़ रुपये है। इस केस को लेकर 17 बॉलीवुड सितारे और 100 से ज्यादा इंफ्लुएंसर्स ईडी के रडार पर है। ईडी 2022 से इस मामले की जांच कर रही है।

ED के रडार पर कई सितारे, एक शादी से सुर्खियों में आए थे सौरभ

दिसबंर 2022 से ईडी इस केस की जांच कर रही थी, लेकिन इसके बाद भी इसी साल फरवरी में महादेव एप घोटाले के सरगना सौरभ चंद्राकर की शादी में सितारों का मेला लग गया। उसकी आलीशान शादी के वीडियो की काफी चर्चा हुई और इसके बाद ये वीडियो ईडी के हाथ भी लगा। ईडी ने उन सितारों को एक-एक करके बुलाना शुरु किया है। ईडी के मुताबिक, 112 करोड़ हवाला के जरिए एक इवेंट मैनेंजमेंट कंपनी को दिए गए, जिसने ये रकम कुछ फिल्मी सितारों को दी। बताया जा रहा है कि होटल बुकिंग के लिए 42 करोड रुपए नकद दिए गए। महादेव एप घोटाले को लेकर ईडी ने अब तक कोलकाता, भोपाल और मुंबई से करीब 417 करोड़ की संपत्ति जब्त की है। दरअसल, सौरभ ये सोचता था कि ऐप का प्रमोशन अगर सितारे करेंगे तो लोग इसमें अधिक दिलचस्पी दिखाएंगे और उसकी ये बात सही निकली। 


प्लेयर्स हमेशा हारेगा, कंपनी हमेशा जीतेगी

महादेव ऐप बनाने वालों ने कलाकारी की। उन्होंने इस तरीके से ऐप को बनाया कि प्लेयर्स हमेशा पैसे खोता था और कंपनी फायदे में रहती थी। हालांकि शुरुआत में हारने वाले को भी जीता हुआ दिखाया जाता था, लेकिन यही कंपनी की प्लानिंग थी। कंपनी के खातों में जो पैसा आया, उसे हवाला के जरिए भारत समेत विदेशों में खातों में ट्रांसफर किया गया। करीब 10 हजार से ज्यादा बैंक खाते इसके लपेटे में हैं। पिछले चार सालों से ये ऐप चल रही थी।  

रणबीर कपूर रडार पर 

कहां तक फैला है ऐप का जाल?

छ्तीसगढ़ से शुरू होकर दुबई तक ये मकड़जाल फैला हुआ है। राजस्थान, पश्चिम बंगाल, झारखंड, बिहार, दिल्ली महाराष्ट्र आंध्रप्रदेश तमिलनाडु  तक में ये खेल खेला जाने लगा।

 

अब ऑनलाइन बैटिंग का ये पूरा घोटाला कैसे होता था और कैसे काले पैसे को सफेद किया जाता था ये समझिए -

- कंपनी दुबई से संचालित की जा रही थी। 
- नए यूजर को जोड़ने के लिए ऑनलाइन बुक बैटिंग एप का इस्तेमाल किया जाता था।
- इसी पर आईडी क्रिएट की जाती थी। 
- सैकडों बेनामी बैंक खातों के जरिये ब्लैक मनी को वाइट किया जाता था। 
- सैकडों बैंक खाते किराए पर लिए गए थे या फिर फर्जी दस्तावेजों के जरिए खुलवाए गए थे। 
- बड़े पैमाने पर हवाला ट्रांजेक्शन के जरिये पैसा विदेशों मे पहुंचाया जाता था।

छत्तीसगढ़ से जुड़े हैं प्रमोटर

प्रमोटर छत्तीसगढ़ के भिलाई के थे, लेकिन ऑपरेट दुबई से करते थे। इनके कुछ सहयोगी पाकिस्तान के भी है और ऐसा कहा जाता है कि Under World का पैसा भी इस ऐप में लगा हुआ है। सौरभ की 200 करोड़ की शादी के बाद से ईडी का शिकंजा कसा। बताया जाता है इस शादी के लिए परिवार के सदस्यों को नागपुर से यूएई तक ले जाने के लिए निजी जेट किराए पर लिए गए थे। शादी के लिए वेडिंग प्लानर, डांसर, डेकोरेटर आदि को मुंबई से बुलाकर काम दिया गया था।

किया फिल्मी सितारों का इस्तेमाल, दी गई मोटी रकम

महादेव ऐप के प्रमोटरों ने ऐप से ज्यादा से ज्यादा लोग जोड़ने के लिए फिल्मी सितारों का इस्तेमाल किया। ये सितारे महादेव ऐप या फिर इसके सहयोगी ऐप के प्रमोशन से सीधे तौर पर जुडे़ थे। अब ईडी इस सिलसिले में फिल्मी सितारों से पूछताछ का मन बना चुकी है। अगर सितारों के खिलाफ सबूत मिलेंगे तो उन्हें गिरफ्तार भी किया जाएगा। 

श्रद्धा कपूर से भी ईडी करेगी पूछताछ

लेकिन यहां एक सवाल ये भी बना हुआ है कि इस ऐप के बारे में सरकार को आखिर तब क्यों पता चला, जब इसके प्रमोटर्स हजारों करोड़ रुपए कमा चुके थे। जाहिर है दाल में कुछ काला है। इसमें कई राजनेताओं और नौकरशाहों की भूमिका की भी जांच की जा रही है। 

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